छात्रवृत्ति से दें अपने ...
अगर आप भी पढ़-लिख कर अपने सपनों को साकार करना ...
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राधेश्याम एक टीचर हैं और गांव के हालात को देखकर दुखी हैं। जब वे कक्षा में बच्चों को पढ़ाते हैं तो उन्हें पता होता है कि सामने बैठे हर दसवें ...
Read more →अंजलि राव ने अगर तीन साल पहले आशा बहू की ट्रेनिंग न ली होती तो आज वह एक साधारण गृहिणी होतीं। लेकिन आज वे न सिर्फ अपना घर अच्छे से ...
Read more →डॉक्टर बनना मेरा सपना है, उसके बाद ही मैं शादी करना चाहती हूँ— शालू को अपने इस सपने को पूरा करने की छूट मिली है। इंटरमीडिएट में पढ़ रही 15 ...
Read more →गांव के चलन के लिहाज से सावित्री की शादी भी कच्ची उम्र में ही हो जाती और आज बीए द्वितीय वर्ष में पढ़ रही सावित्री 16 साल की उम्र में ...
Read more →चार बहनों और एक भाई वाले परिवार की बेटी सन्नू अपने संकोची स्वभाव के बावजूद मां से इस बात की जिद ठान सकी कि उसकी पढ़ाई रोककर 15 साल की ...
Read more →घर की तमाम मजबूरियों के नाम पर मां ने मंजू देवी की शादी उनके बचपन में ही कर दी थी। अपने बाल विवाह से जूझकर आगे बढ़ी मंजू देवी ने ...
Read more →अनपढ़ चंपा देवी की समझदारी और हिम्मत बहुतेरे पढ़े-लिखों से बेहतर है। बेहद कठिन हालात के बावजूद वह अपनी बेटी का विवाह 18 साल की उम्र होने के बाद ही ...
Read more →भुच्च देहात में रहने वाला एक साधारण किसान ही जानता है कि बेटी को उच्च शिक्षा हासिल करते देख कितनी शांति मिलती है। श्रावस्ती के किसान रामनरेश यादव कहने को ...
Read more →वह एक सामान्य किसान हैं। दौलत-विरासत है नहीं, बस किसी तरह गुजर हो जाती है। घर में दो बेटियों के अलावा एक बेटा है। बेटी सोलह साल की है और ...
Read more →अपनी मां के ये शब्द पुष्पा के कानों में अब भी गूंजते हैं। उसे याद है कुछ माह पहले जब वह स्कूल से घर लौटी थी तो घर में उसकी ...
Read more →अगर आप भी पढ़-लिख कर अपने सपनों को साकार करना ...
In a empowering session of the Amar Ujala Foundation's initiative, ...
On World Blood Donor Day, Amar Ujala Foundation, in collaboration ...