शब्दों की महान परंपरा के सतत सम्मान और श्रेष्ठतम सृजन को रेखांकित करने के लिए शुरू किए गए ‘अमर उजाला शब्द सम्मान’ बृहस्पतिवार, 31 जनवरी, 2019 को नई दिल्ली के तीन मूर्ति सभागार में शाम छह बजे पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी प्रदान करेंगे। इस शृंखला में दो सर्वोच्च अलंकरण ‘आकाशदीप’ हिंदी के लिए विख्यात आलोचक नामवर सिंह और भारतीय भाषाओं के लिए विख्यात नाटककार और फिल्मकार गिरीश कारनाड को दिए जाएंगे। आकाशदीप सम्मान के तहत स्मृति चिह्न के रूप में गंगा की प्रतिमा, प्रशस्ति पत्र और पांच लाख रुपये की राशि प्रदान की जाएगी।
इसी कड़ी में छाप सम्मान के तहत कथा श्रेणी का पुरस्कार युवा कहानीकार मनीष वैद्य को उनकी किताब ‘फुगाटी का जूता’, कविता श्रेणी में आर. चेतन क्रांति को उनकी पुस्तक ‘वीरता पर विचलित’, गैर कथेतर श्रेणी में अनिल यादव की किताब ‘सोनम गुप्ता बेवफा नहीं है’ और अनुवाद के लिए भाषा बंधु सम्मान गोरख थोरात को दिए जाएंगे। हिंदी में किसी भी लेखक की पहली पुस्तक के लिए थाप सम्मान युवा उपन्यासकार प्रवीण कुमार की कृति ‘छबीला रंगबाज का शहर’ को दिया जाएगा। इन सभी साहित्यकारों को समारोह में स्मृति चिह्न, प्रशस्ति पत्र और एक लाख रुपये की राशि प्रदान की जाएगी। निर्णायक मंडल में मशहूर कथाकार ज्ञानरंजन, मशहूर आलोचक विश्वनाथ त्रिपाठी, मशहूर कवि मंगलेश डबराल, मशहूर कवि और अनुवादक प्रयाग शुक्ल और मश्हूर उत्तर आधुनिक आलोचक सुधीश पचौरी शामिल थे।